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जापान में स्कूली बच्चों की बदमाशियां रोकने के लिए क्लास में रोबोट लगाए जाएंगे



टोक्यो. जापान में स्कूली बच्चाें के बीच आपसी झगड़ा-झंझट रोकने के लिए क्लास में रोबोट लगाए जाएंगे। ये रोबोट क्लास में बच्चों की बदमाशी को रोकेंगे। बच्चों के बीच होने वाली बहस, मारपीट जैसे संकेतों को रोबोट तुरंत पहचान लेगा और इसके पहले कि बात आगे बढ़े, उसे वहीं पर रोक देगा। यही इसका मुख्य काम होगा। इससे टीचर्स को काफी राहत मिलेगी और वे बच्चों की पढ़ाई पर फोकस कर सकेंगे।

जापान के पश्चिमी प्रांत ओत्सु में इसी महीने से इन रोबोट की तैनाती शुरू कर दी गई है। जापान में पिछले साल स्कूली बच्चों के बीच झगड़े के 4 लाख से ज्यादा मामले दर्ज किए गए थे। 10 बच्चों ने इसी शिकायत के कारण खुदकुशी तक कर ली थी। इन्हीं कारणों से सरकार ने सभी स्कूलों में रोबोट की तैनाती का फैसला किया है।

आत्महत्या के लिए बच्चों ने बच्चों को उकसाया था :दरअसल, जापान के ओत्सु में 2011 में 13 साल के एक बच्चे ने खुदकुशी कर ली थी। ओत्सु शिक्षा बोर्ड ने इस खुदकुशी को पारिवारिक वजह और तनाव बताया था। लेकिन दो साल तक चली जांच के बाद पता चला कि बच्चे ने स्कूली झगड़े के डर से ही खुदकुशी की थी। पुलिस ने जांच में कई तथ्य जुटाए जिससे यह साबित हो गया कि बच्चे को खुदकुशी के लिए उकसाया गया था। उस बच्चे को दूसरे शरारती बच्चों ने मरी हुई मक्खी खाने के लिए मजबूर किया। उसका गला घोंटा गया और उसकी कॉपी-किताब तक फाड़ दी गई थी।

मामले बढ़ने के बाद सरकार ने नियम बनाएं :इस मामले में ओत्सु प्रांत के शिक्षा बोर्ड की काफी किरकिरी हुई। मामले की गंभीरता को देखते हुए सरकार ने 2013 में स्कूली बच्चों के बीच बढ़ते झगड़ों को रोकने के लिए एक कानून बनाया। सभी प्रांतों को यह कानून लागू करने के निर्देश भी दिए। इसके बाद से ही जापान के सभी स्कूलों में यह कानून अनिवार्य कर दिया गया कि स्कूल और परिसर में होने वाले किसी भी झगड़े की 24 घंटे के भीतर रिपोर्ट की जाए, ताकि खुदकुशी जैसी घटना से बचा जा सके। रोबोट की तैनाती के पीछे एक वजह यह भी है कि कभी-कभी टीचर कम अनुभवी होते हैं। वह बच्चों के उन इरादों को पहले ही भांप नहीं पाते हैं, जो आगे चलकर बड़ी घटना का रूप ले लेते हैं। लेकिन रोबोट इन संकेतों या चिह्नों को पहले ही भांप लेगा और झगड़ा बढ़ने से पहले ही रोक लेगा।

झगड़ों के 9 हजार मामलों को रोबोट ने मेमोरी में लिया, परीक्षण में सफल
स्कूल में रोबोट को तैनात करने से पहले उसमें बच्चों के बीच झगड़े के 9 हजार पुराने मामले फीड किए गए। उसका विश्लेषण करवाया गया ताकि वह इसे अपनी मेमोरी में ले ले। इसके बाद कक्षा में बैठे बच्चों के बीच उसका परीक्षण किया गया। परीक्षण में बहस और मारपीट की घटना रोबोट ने तुरंत पहचान ली और टीचर को आगाह भी कर दिया। इस रोबोट को बनाने में सरकार ने हिताची कंपनी का सहयोग लिया है।

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Japan’s robots will stop children’s mischief in school

Source: bhaskar international story

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