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कोच रवि शास्त्री ने पृथ्वी शॉ को बताया सचिन, सहवाग और लारा का कॉन्बो, देखिए 18 साल के इस प्लेयर की यूं ही 'क्रिकेट के भगवान' से नहीं होती तुलना



स्पोर्ट्स डेस्क: भारतीय टीम के ओपनर पृथ्वी शॉ ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पहले टेस्ट से बाहर हो गए हैं। शुक्रवार को सिडनी में क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया (सीए) एकादश के खिलाफ अभ्यास मैच में फील्डिंग करते समय पृथ्वी चोटिल हो गए। मैच के तीसरे दिन कैच लेने के प्रयास में पृथ्वी के बाएं पैर की एड़ी मुड़ गई। सपोर्ट स्टाफ की मदद से उन्हें उठाकर मैदान से बाहर ले जाया गया। वहां से उन्हें स्थानीय अस्पताल में स्कैन के लिए ले जाया गया। स्कैन में लिगामेंट इंजरी की पुष्टि हुई। खास बात ये है कि क्रिकेट के शुरुआती दिनों में सचिन को भी पृथ्वी की तरह बाहर लाया गया था।

घायल होने के बाद सचिन भी ऐसे ही गए थे बाहर
कहते इतिहास खुद को दोहराता है, करियर के शुरुआती दिनों में सचिन भी घायल हुए थे। 6 मार्च 1990 को न्यूजीलैंड के खिलाफ वेलिंग्टन वनडे में मांसपेशियों में खिंचाव आने के बाद सचिन को विवेक राजदान गोद में उठाकर मैदान से बाहर ले गए थे। उसी तरह पृथ्वी शॉ को भी घायल होने के बाद गोद में उठाकर बाहर ले जाना पड़ा, प्लेइंग स्टाइल और फर्स्टक्लास रिकॉर्ड्स में पृथ्वी की तुलना सचिन से की जाती है।

पृथ्वी शॉ में सचिन, सहवाग और लारा की झलक – रवि शास्त्री
भारतीय क्रिकेट टीम के कोच रवि शास्त्री भी पृथ्वी शॉ के मुरीद हो गए हैं एक इंटरव्यू में उन्होंने कहा कि पृथ्वी में सहवाग जैसा एग्रेशन, सचिन जैसी स्टाइल और लारा जैसा धैर्य है, यानी वो तीनों प्लेयर्स का कॉन्बो है।

डेब्यू टेस्ट में जड़ा शतक
कच्ची उम्र में शॉ ने वेस्टइंडीज के खिलाफ खेले अपने डेब्यू टेस्ट में बेहतरीन बल्लेबाजी का पक्का सबूत पेश किया है, 18 साल के इस बल्लेबाज ने 2 टेस्ट की 3 पारियों में 118.50 की रिकॉर्ड औसत से 237 रन बनाए हैं, जिसमें टेस्ट करियर की पहली ही पारी में शतक जड़ने का धमाल भी शामिल है।

सचिन से क्यों होती है तुलना ?
पृथ्वी शॉ के तुलना सचिन से की जा रही है। जिस तरह सचिन ने डोमेस्टिक क्रिकेट में एक के बाद एक कई रिकॉर्ड्स बनाकर महज 16 साल की उम्र में इंटरनेशनल क्रिकेट में डेब्यू कर लिया था, उसी तरह पृथ्वी भी घरेलू क्रिकेट में कई रिकॉर्ड्स बना चुके हैं। सचिन ने 18 साल का होने से पहले 7 सेन्चुरी लगाई थीं, वहीं पृथ्वी ने 4 सेन्चुरी लगाईं। पृथ्वी ने 12 साल की उम्र में हैरिस शील्ड मैच में 546 रन बनाकर सुर्खियों में आए थे। पृथ्वी भी सचिन की तरह ही फास्ट बॉलर बनना चाहते थे लेकिन बन गए बल्लेबाज। साल 2013 में सचिन ने क्रिकेट को अलविदा कहा था उसी साल पृथ्वी ने स्कूल क्रिकेट में 546 रन की शानदार पारी खेली थी।

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Source: bhaskar international story

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